البحث

عبارات مقترحة:

الحفي

كلمةُ (الحَفِيِّ) في اللغة هي صفةٌ من الحفاوة، وهي الاهتمامُ...

الحسيب

 (الحَسِيب) اسمٌ من أسماء الله الحسنى، يدل على أن اللهَ يكفي...

العظيم

كلمة (عظيم) في اللغة صيغة مبالغة على وزن (فعيل) وتعني اتصاف الشيء...

शबे-बराअत की हक़ीक़त

الهندية - हिन्दी

المؤلف अबू ज़ैद ज़मीर ، अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह
القسم دروس ومحاضرات
النوع صوتي
اللغة الهندية - हिन्दी
المفردات شهر شعبان
शबें शबे-बराअत की हक़ीक़तः कोई महीना ऐसा नहीं बीतता जिसमें बिदअती और अपनी इच्छाओं के पुजारी लोग धर्म के नाम पर कोई न कोई नवाचार निकालकर अंजाम न देते हों। उन्हीं में से शाबान महीने की पंद्रहवीं रात को विशेष उपासना करना, उसके दिन का रोज़ रखना, हलवा बनाना, और अन्य अवैद्ध कार्य करना व मान्चता रखना इत्यादि शामिल हैं। प्रस्तुत व्याख्यान में, क़ुरआन व हदीस के प्रकाश में इस विषय में वर्णित प्रमाणों का उल्लेख कर उनकी वास्तविकता को स्पष्ट किया गया है, तथा उसके बारे में उठाए जाने वाले संदेहों का उत्तर दिया गया है, और यह बताया गया है कि पैगंबर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम और आपके सहाबा रज़ियल्लाह अन्हुम से इस बाबत कोई चीज़ प्रमाणित नहीं है।