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عبارات مقترحة:

الحفي

كلمةُ (الحَفِيِّ) في اللغة هي صفةٌ من الحفاوة، وهي الاهتمامُ...

الجميل

كلمة (الجميل) في اللغة صفة على وزن (فعيل) من الجمال وهو الحُسن،...

الرقيب

كلمة (الرقيب) في اللغة صفة مشبهة على وزن (فعيل) بمعنى (فاعل) أي:...

الترجمة الهندية

ترجمة معاني القرآن الكريم للغة الهندية ترجمها مولانا عزيز الحق العمري، نشرها مجمع الملك فهد لطباعة المصحف الشريف. عام الطبعة 1433هـ.

71- ﴿قُلْ أَنَدْعُو مِنْ دُونِ اللَّهِ مَا لَا يَنْفَعُنَا وَلَا يَضُرُّنَا وَنُرَدُّ عَلَىٰ أَعْقَابِنَا بَعْدَ إِذْ هَدَانَا اللَّهُ كَالَّذِي اسْتَهْوَتْهُ الشَّيَاطِينُ فِي الْأَرْضِ حَيْرَانَ لَهُ أَصْحَابٌ يَدْعُونَهُ إِلَى الْهُدَى ائْتِنَا ۗ قُلْ إِنَّ هُدَى اللَّهِ هُوَ الْهُدَىٰ ۖ وَأُمِرْنَا لِنُسْلِمَ لِرَبِّ الْعَالَمِينَ﴾


(हे नबी!) उनसे कहिए कि क्या हम अल्लाह के सिवा उनकी वंदना करें, जो हमें कोई लाभ और हानि नहीं पहुँचा सकते? और हम एड़ियों के बल फिर जायेँ, इसके पश्चात कि हमें अल्लाह ने मार्गदर्शन दे दिया है, उसके सामने, जिसे शैतानों ने धरती में बहका दिया हो, वह आश्चर्यचकित हो, उसके साथी उसे पुकार रहे हों कि सीधी राह की ओर हमारे पास आ जाओ[1]? आप कह दें कि मार्गदर्शन तो वास्तव में वही है, जो अल्लाह का मार्गदर्शन है। और हमें तो, यही आदेश दिया गया है कि हम विश्व के पालनहार के आज्ञाकारी हो जायेँ।

الترجمات والتفاسير لهذه الآية: